पाँच सौ सालों तक हमारे पुत्रों ने कीमत चुकाई है : साध्वी ऋतम्भरा
उज्जैन। पूरी गर्जना के साथ राममंदिर निर्माण के संदर्भ में जय श्रीराम जयश्रीराम की जय घोष के साथ कहा कि कुछ राजनीतिक दल मंदिर बनाने की तारीख पूछते थे। अब बन गया तो श्रेय लेने के लिए आगे आ रहे हैं, श्रेय तो हमारी उन माताओं को मिलना चाहिए, उन बहनों को मिलना चाहिए, जिन्हें अपना भाई खोया है, उन पत्नियों को मिलना चाहिए, जिन्होंने भरी जवानी में अपने पति को खोया है। हमारे संतों को मिलना चाहिए, जिन्होंने राममंदिर आन्दोलन में अपने प्राण न्योछावर किये।
दीदी माँ ने सभी भक्तों से आह्वान किया कि राममंदिर जन्मस्थली में रामलला की प्राणप्रतिष्ठा 22 जनवरी को सभी अपने घरों पर दीप प्रज्ज्वलित करें, क्योंकि आप भाग्यशाली हैं। पांच सौ साल बाद यह मौका मिला है। युगपुरुष महामंडलेश्वर और राममंदिर न्यास के सदस्य श्रीस्वामी परमानंद गिरि ने आज वेदांत के साथ ही वर्तमान स्थिति पर कहा कि अब परिस्थितियाँ बदलने की आवश्यकता है। कुछ नेता मंदिर निर्माण पर कटाक्ष करते हुए कहते हैं मन्दिर की जगह अस्पताल बना देते, क्या वो ये बोल पाएंगे कि मस्जिद के स्थान पर अस्पताल बना देते। नहीं बोल पाएंगे, क्योंकि वो एक पक्ष के वोट पाकर सत्ता में आते थे, अब हिन्दुओं को जागना पड़ेगा। हमें जातियों में बाँटा जा रहा है। हमें गर्व है हम हिन्दू हैं। डाकू, चोर, नशेड़ी आसानी से एक हो जाते हैं, परन्तु हम नेक बने एक बने, नेक इंसान जल्दी एक नहीं होते। अब समय आ गया हम सभी एक हों। 22 जनवरी को पूरे उत्साह के साथ राममंदिर प्राणप्रतिष्ठा का उत्सव घर पर पास मंदिरों में मनाये। महामंडलेश्वर श्रीस्वामी ज्योतिर्मयानन्द गिरिजी ने ओजस्वी वाणी में कहा कि दीदी मां को राममंदिर आन्दोलन के दौरान फायरब्रांड साध्वी की उपमा दी गयी। हाल ही में उ.प्र. के मुख्यमंत्री योगी ने कहा हे, अब वाद-विवाद से नहीं, संवाद से सब संभव होने वाला है। आप सही दिशा में चलते जाओ काशी, मथुरा तो ठीक है, ताजमहल और दुनिया के वो सभी मंदिर मिलेंगे, जिन्हें आताताईयों ने तोड़े थे। विराट संतसम्मेलन के सूत्रधार चारधाम मंदिर के संस्थापक महामंडलेश्वर स्वामी शांति स्वरूपानंद गिरि ने कहा कि दादागुरु की पुण्यतिथि पर हर वर्ष संतों का विराट संतसम्मेलन किया जाएगा। स्वामी जी ने राममंदिर आन्दोलन से जुड़ी रोचक घटनाओं का भी जिक्र किया। कार्यक्रम में स्वागत भाषण समिति के अध्यक्ष अशोक प्रजापत ने दिया। उक्त जानकारी मीडिया प्रवक्ता राजेश करे एवं पं. रामलखन शर्मा ने देते हुए बताया कि समापन अवसर पर चारधाम मंदिर ट्रस्ट की ओर से अशोक प्रजापत, सत्यनारायण जायसवाल, डॉ. पुरुषोत्तम व्यास, सुरेश आहूजा, तरुण मित्तल आदि ने अतिथि संतों का सम्मान किया। पूज्य महामंडलेश्वर श्रीस्वामी परमानंद गिरि, पूज्य दीदी माँ साध्वी ऋतम्भरा, महामंडलेश्वर श्रीस्वामी शान्ति स्वरुपानंद गिरि, महामंडलेश्वर श्रीस्वामी ज्योतिर्मयानन्द गिरि के साथ ही मंच पर महामंडलेश्वर श्रीस्वामी अनन्त दैव गिरि, महामंडलेश्वर श्री स्वामी जगत प्रकाश त्यागी (चित्रकूट), श्रीस्वामी महेशानंद हरिद्वार, स्वामी वेदानन्द, साध्वी सत्यप्रिया दीदी, वृन्दावन, साध्वी चैतन्य सिंघु इंदौर, राजा रामशरण जयपुर, श्री स्वामी सत्यश्रेय गिरि महाराज, कमलेश ब्रह्मचारी, मानसपुष्प भगवानशरण बापू, साध्वी हेमलता दीदी, श्रीस्वामी अवधेश दास, श्रीस्वामी रामकृष्णाचार्य संत सम्मेलन में विशेष रूप से उपस्थित थे। कार्यक्रम के स्वागताध्यक्ष महावीर प्रसाद मानसिंगा, कलेक्टर नीरजसिंह, एसपी सचिन शर्मा, माखन सिंह चौहान, सत्यनारायण जटिया, पूर्व विधायक पारस जैन, कैलाश पाटीदार, अजय नागर बडी़ संख्या में भक्त गण उपस्थित थे। आभार समाजसेवी कमलेश पंचोली ने किया।
2024-01-05